Wednesday, December 3, 2025

19 साल बाद अमावस्या पर बनने जा रहा बेहद खास संयोग, इन 4 राशियों पर बरसेगी मां लक्ष्मी की कृपा, करें ये उपाय

Adhik Maas Amavasya 2023: ज्योतिष शास्त्र के अनुसार मलमास का महीना 18 जुलाई से शुरू हुआ था और 16 अगस्त को खत्म होने जा रहा है।19 साल बाद इस अमावस्या पर बहुत ही बड़ा संयोग बनने जा रहा है जो कुछ जो कुछ राशि के जातकों के लिए बहुत ही शुभ साबित होने वाला है। मलमास महीना खत्म होने के बाद फिर से श्रावण मास आरंभ हो जाएगा। मलमास का महीना जहां भगवान विष्णु का माना जाता है तो वही सावन का महीना महादेव का माना जाता है। अमावस्या तिथि का हिंदू धर्म में विशेष महत्व है क्योंकि यह तिथि पितरों को समर्पित है मलमास में अमावस्या तिथि का आना बहुत ही शुभ माना जाता है क्योंकि इस दिन पितरों को तर्पण और दान पूर्ण के कार्य करने से सभी अधूरे काम पूरे होते हैं। 15 अगस्त मंगलवार को दोपहर 12:42 से अमावस्या तिथि आरंभ हो जाएगी जो 16 अगस्त बुधवार को दोपहर 3:07 पर समाप्त होगी। ऐसे में 16 अगस्त को अधिक मास की अमावस्या मनाई जाएगी। इस दौरान इन राशि वालों पर मां लक्ष्मी की कृपा बरसेगी।

कन्या राशि: धन प्राप्त होगा दांपत्य जीवन सुखमय बना रहेगा। संतान की तरफ से कोई शुभ समाचार सुनने को मिल सकता है। यह समय व्यापारी वर्ग के लिए बहुत ही उत्तम रहेगा।

तुला राशि: पैतृक संपत्ति से जुड़े विवाद खत्म हो सकते हैं। अधिकारी आपके काम की प्रसन्नता करेंगे शादी के योग्य लोगों के जीवन साथी की तलाश पूरी हो जाएगी।

वृषभ राशि: अच्छी नौकरी मिल सकती है मार्केट में आपकी प्रतिष्ठा में बढ़ोतरी होगी। नई जिम्मेदारियां को पूरा करने में सफल रहेंगे स्वास्थ्य बेहतर रहेगा। अधिक मास समस्या पर वृषभ राशि वालों के लिए करियर की समस्या समाप्त होगी।

कुंभ राशि: नौकरी और धन प्राप्त के लिए अच्छा समय है दिक्कतें दूर हो जाएगी। व्यापारियों के लिए इस समय अनुकूल है। माता-पिता का सहयोग मिलेगा ।आत्मविश्वास में बढ़ोतरी होगी।

तुरंत ही कर लें ये उपाय

-पीपल के पेड़ की उपासना करने से व्यक्ति को सुख समृद्धि एवं ईश्वर की प्राप्ति होगी।

-भोले शंकर को शमी के पत्ते और बेलपत्र बहुत ही प्रिय है भगवान शिव को अर्पित करें। सभी कठिनाइयों से छुटकारा मिलेगा।

-अमावस्या के दिन पानी खड़ा नमक डालकर पोछा लगे। ऐसा करने से नकारात्मक ऊर्जा खत्म हो जाती है।

-अमावस्या के दिन सुबह उठकर नदी में स्नान करके पिंडदान और श्राद्ध कर्म करें। ऐसा करने से पितरों को मोक्ष मिलता है।

-अमावस्या की शाम को घर के ईशान कोण में गाय के घी का दीपक जलाना चाहिए। बत्ती के रूप में लाल रंग के धागे का उपयोग करना चाहिए और केसर भी डालें।

(Disclaimer: यहां पर प्राप्त जानकारी सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है। News India इसकी पुष्टि नहीं करता है।)

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